ग्रामसभा मधईपुर कुर्मी के प्रा०वि० रनियापुर में शिक्षक बेखौफ,नहीं आ रहे पढ़ाने

ग्रामसभा मधईपुर कुर्मी के प्रा०वि० रनियापुर में शिक्षक बेखौफ,नहीं आ रहे पढ़ाने

ग्रामसभा मधईपुर कुर्मी के प्रा०वि० रनियापुर में शिक्षक बेखौफ,नहीं आ रहे पढ़ाने


                                                                                                                                                                         

 (विद्यालय की व्यवस्था बदहाल होने से पूछने पर बताया नहीं आ रहा बजट )                                                                               

 (योगी आदित्यनाथ के आदेशों के बावजूद भी नहीं दिख रहा कर्मचारियों मे भय)


कर्नलगंज/परसपुर गोण्डा। 

तहसील क्षेत्र के अन्तर्गत आने वाले विकासखण्ड परसपुर के ग्राम पंचायत मधईपुर कुर्मी में प्राथमिक विद्यालय रनियापुर के निवासी क्षेत्र पंचायत सदस्य व ग्रामीणों द्वारा मीडिया कर्मियों को सूचना देकर यह बताये जाने कि कई महीनों से एक अध्यापिका विद्यालय नहीं आ रही हैं जिनका नाम सरिता पटेल है। ग्रामीणों से सूचना पाकर जब शनिवार को कुछ मीडिया कर्मी विद्यालय पहुंचे तो चार शिक्षकों मे से वर्तमान समय में वहां दो शिक्षक ही मौजूद पाए गए।

 वहीं प्रधानाध्यापिका से इसके बारे में पूंछतांछ करने पर वह पहले तो उसके बारे में बोलने से मुकर जाती हैं फिर जब उनको पता चलता है कि वह लोग मीडिया से हैं तो वह कई बार एक ही बात को बदल बदल कर बयान देती रहीं। उनके द्वारा कहीं बताया गया कि वह मेडिकल लीव पर है फिर बताया कि सीएल लीव पर है उसके बाद यह कहा गया कि कभी-कभी आती थी और फिर बताया गया कि 25 अप्रैल को आई थी उसके बाद नहीं आईं।

जब उनसे यह पूछा गया कि आप ने इसकी सूचना बेसिक शिक्षा अधिकारी गोंडा को दिया कि नहीं तो उन्होंने कहा हां मैंने सूचना दे दिया है। लेकिन उनसे हुई बातचीत से यह स्पष्ट होता है कि कहीं ना कहीं दाल में काला है और जैसा कि ग्रामीणों ने बताया कि एक साल से अधिक हो गया अध्यापिका यहां पढ़ाने नहीं आती हैं। इससे यह स्पष्ट होता है कहीं ना कहीं इसमें जिम्मेदार आला अधिकारियों की भी मिलीभगत है। जबकि विद्यालय का गहन निरीक्षण करने पर वहां पर रसोई बाथरूम दोनों गंदा पाया गया जिससे साफ पता चलता है कि बाथरूम बंद है और विद्यालय में पुताई कार्य सिर्फ अगले भाग में किया गया है 

जहां पिछले भाग को छोड़ दिया गया है। हैरतअंगेज है कि जब उक्त संबंध में विद्यालय की प्रधानाध्यापिका से जानकारी चाही गई तो उन्होंने कहा इसका बजट नहीं आता है। जो योगी सरकार के मंशा पर पानी तो फेर ही रहे हैं वहीं सरकारी कर्मचारियों में योगी आदित्यनाथ की सरकार का कोई भय व अंकुश नहीं दिख रहा है। ऐसे में यदि इन निरंकुश कर्मियों पर समय रहते अंकुश ना लगाया गया तो प्राथमिक विद्यालय की छवि धूमिल होने के साथ ही साथ सरकार की भी छवि भी धूमिल होगी। 

ग्रामीणों ने बताया कि ऐसे लोगों के विरुद्ध सख्त से सख्त कार्यवाही हो जिससे उनको सबक मिल सके। वहीं एक मीडिया कर्मी ने जब बेसिक शिक्षा अधिकारी को फोन करके इस मामले की सूचना दी तो उन्होंने कहा कि इसकी जांच कर शीघ्र उचित कार्यवाही करेंगे। शनिवार को उन्होंने तहसील दिवस में व्यस्त होने के कारण सोमवार को कार्यवाही करने की बात कही।

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